नहीं देने पर जान से मारने की धमकी
अपराधियों के हौसले हैं बुलन्द,पुलिस पस्त
अमन–चैन के लिए तरस रहे हैं लोग
सहरसा से मुकेश कुमार सिंह की दो टूक—
क्या हो गया है पूरी पुलिस व्यवस्था को ?क्यों कानून का अब खौफ नहीं रहा ?क्यों पुलिस अब सेवा की जगह सिर्फ नौकरी कर रही है ?क्यों अपराधियों की है बल्ले–बल्ले ?बहुतेरे सवाल हैं,जिसके जबाब अनुत्तरित हैं ।
सहरसा जिला मुख्यालय के वार्ड संख्यां 2 के पार्षद श्यामल किशोर शर्मा से अपराधियों ने उनके मोबाइल संख्यां 9430858491 पर मोबाइल संख्यां 7070447209 से पांच लाख की रंगदारी मांगी है और नहीं देने पर दो–तीन दिन के भीतर जान से मार देने की धमकी दी है ।
पीड़ित पार्षद ने इस बाबत एसपी से ना केवल बातचीत कर न्याय की गुहार लगाई है बल्कि सदर थाना में आवेदन भी दिया है ।सदर एसएचओ भाई भरत ने इस मामले को गंभीरता से लिया है । उन्होनें कहा की अपराधी के मोबाइल नम्बर का कॉल डिटेल्स खंगाला जा रहा है ।जल्द ही अपराधी को पुलिस दबोच लेगी ।
सदर एसएचओ को बयान बेहद त्वरित गति में कार्यवाही होने की ओर इशारे कर रही है लेकिन पुलिस की कार्यशैली इससे बिल्कुल उलट है ।बड़े से बड़े संगीन अपराध में शामिल अपराधियों को दबोचने में सहरसा पुलिस नाकाम रही है ।पुलिस की कथनी और करनी में बेहद फासला है ।इस जिले में अपराधी बिना किसी शक–शुब्बा के पुलिस पर भारी हैं ।अपराधी अपराध दर अपराध को अंजाम दे रहे हैं लेकिन बेचारी पुलिस मामले दर्ज करने में ही खुद को समर्थ समझ रही है । अपराधी अपराध के जयकारे लगा रहे हैं । सहरसा के पुलिस कप्तान अश्वनी कुमार को एसी की ऐसी लत लगी है की वे कभी खुद से गस्ती,या किसी घटना में मौक़ा ए वारदात पर जाना मुनासिब नहीं समझते हैं ।जिला मुख्यालय के लोगों ने भी अपने पुलिस कप्तान को ठीक से नहीं देखा है । श्यामल किशोर शर्मा की जिंदगी खतरे में है ।उन्हें खुद सतर्क रहने की जरूरत है ।उनकी जिंदगी पुलिस की जगह अपराधियों की मेहरबानी पर टिकी हुयी है ।वैसे पुलिस इस मामले में क्या कार्रवाई कर रही है,इसपर हमारी नजर बनी हुयी है ।आखिर में हम यह ताल ठोंक कर कहते हैं की इस इलाके में अपराधियों की समानांतर सरकार चल रही है । अपराधी पुलिस का नहीं बल्कि पुलिस वाले अपराधियों से खौफ खाते दिख रहे हैं ।