श्री राष्ट्रीय राजपूत करणी सेना को गुंडा कहने वाले,खुद गुंडे और दलाल हैं— मुकेश कुमार सिंह
19 राज्यों में फैला है हमारा संगठन….
लोकेंद्र सिंह कालवी से हमारा कोई संबंध नहीं…..
कई सामाजिक मुद्दों पर संगठन आगे करेगा देशव्यापी अंदोलन….
सहरसा टाईम्स : श्री राष्ट्रीय राजपूत करणी सेना,देश का इकलौता ऐसा संगठन है,जो सर्व समाज को साथ लेकर न्याय की वकालत करता है ।फिल्म पद्मावत पर हमारा विरोध इतिहास के मौलिक तथ्यों से छेड़छाड़ को लेकर था ।हम सभी फिल्मकारों से यह आग्रह करते हैं कि वे मशालेदार और चटकदार मूवी बनाएं लेकिन इतिहास से दूर रहें ।जिन्हें अपनी संस्कृति की रखवाली और उसके संवर्धन की सोच नहीं है, वे ऐसे मसले में हाथ ना लगाएं ।
श्री राष्ट्रीय राजपूत करणी सेना बिहार-झारखण्ड के मुख्य संगठन प्रभारी मुकेश कुमार सिंह ने एक खास मुलाकात के दौरान ये बातें कही ।मुकेश कुमार सिंह ने आगे कहा कि बिहार और झारखंड के अलावे कई अन्य प्रदेशों में फिल्म पद्मावत के विरोध को लेकर हमारे कई साथियों पर मुकदमे दर्ज हुए हैं ।
संगठन सबसे पहले मुकदमे को खत्म करवाएगा । संगठन के राष्ट्रीय संगठन मंत्री सूरज पाल सिंह अम्मू जेल भेजे गए । आगे हम संगठन के किसी ओहदेदार की गिरफ्तारी बर्दास्त नहीं करेंगे ।ऐसी परिस्थिति आने पर संगठन देश स्तर पर तल्ख और उग्र आंदोलन होंगे ।श्री सिंह ने कहा कि राजपूत समाज के बीच भ्रम फैलाकर राजनीति करने वाले लोकेंद्र सिंह कालवी से हमारे संगठन का कोई लेना-देना नहीं है । हमारे संगठन के राष्ट्रीय अध्यक्ष सुखदेव सिंह गोगामेड़ी हैं और सारे फैसले हमसभी मिलकर लेते हैं ।लोकेंद्र सिंह कालवी हवा का रुख देखकर चाणक्य की तरह काम करते हैं ।अभी हमारा संगठन 19 राज्यों में फैला हुआ है । आने वाले दिनों में यह संगठन कश्मीर से कन्या कुमारी तक अपनी पकड़ मजबूत कर लेगा ।हम आने वाले दिनों में अपने संगठन का सहयोगी संगठन श्री राष्ट्रीय सर्वसमाज करणी सेना का गठन करने जा रहे हैं । 36 कौम को साथ लेकर चलने और उसकी निगहबानी की जिम्मेवारी हम उठाते रहे हैं और आगे भी उठाएंगे । हमें गुंडा और मवाली कहने वाले दोगले पहले अपना–अपना दामन देख लें । सड़े हुए चरित्र लेकर भौंकने से समाज को ठगा जा सकता है, उसे नई राह नहीं दिखाई जा सकती है ।आखिर में श्री सिंह ने जोर देकर कहा कि हम संविधान और माननीय सर्वोच्च अदालत से लेकर निचली अदालत तक का सम्मान करते हैं । हम इस देश के नागरिक हैं और हमें अपने वजूद से ज्यादा हमारा देश प्यारा है ।हमारे लिए देश सबसे पहले है लेकिन हमारे पुरखों की कुर्बानी को जाया करने का हक किसी को नहीं है ।